हमने केंद्र शासित प्रदेशों से वितरण कंपनियों के निजीकरण के लिये कहा है

 नीति आयोग के मुख्‍य कार्यकारी अधिकारी अमिताभ कांत के कथन कि भारत में ‘कुछ ज्यादा ही लोकतंत्र है, के उत्तर में केंद्रीय मंत्री रविशंकर प्रसाद  ने कहा, ‘ हमें अपने लोकतंत्र पर गर्व है।’  अपनी इस प्रतिक्रिया के साथ ही सरकार ने अमिताभ कांत के कमेंट को लेकर आई प्रतिक्रियाओं को विराम देने की कोशिश की है।
स्वराज्य पत्रिका के कार्यक्रम को वीडियो कॉन्फ्रेन्स के जरिये संबोधित करते हुए कांत ने यह बात कही थी। उन्‍होंने जोर देकर कहा था कि देश को प्रतिस्पर्धी बनाने के लिये और बड़े सुधारों की जरूरत है। नीति आयोग के सीईओ ने कहा था, पहली बार केंद्र ने खनन, कोयला, श्रम, कृषि समेत विभिन्न क्षेत्रों में कड़े सुधारों को आगे बढ़ाया है। अब राज्यों को सुधारों के अगले चरण को आगे बढ़ाना चाहिए। कार्यक्रम में उन्‍होंने कहा था, ‘‘भारत के संदर्भ में कड़े सुधारों को लागू करना बहुत मुश्किल है। इसकी वजह यह है कि चीन के विपरीत हम एक लोकतांत्रिक देश हैं… हमें वैश्विक चैंपियन बनाने पर जोर देना चाहिए। आपको इन सुधारों (खनन, कोयला, श्रम, कृषि) को आगे बढ़ाने के लिये राजनीतिक इच्छाशक्ति की जरूरत है और अभी भी कई सुधार हैं, जिन्हें आगे बढ़ाने की आवश्यकता है।” उन्होंने यह भी कहा था कि कड़े सुधारों को आगे बढ़ाये बिना चीन से प्रतिस्पर्धा करना आसान नहीं है।
नीति आयोग के सीईओ ने इस बात पर जोर दिया था कि अगले दौर के सुधारों के लिये अब राज्यों को आगे आना चाहिए। उन्होंने कहा था, ‘‘अगर 10-12 राज्य उच्च दर से वृद्धि करेंगे, तब इसका कोई कारण नहीं कि भारत उच्च दर से विकास नहीं करेगा। हमने केंद्र शासित प्रदेशों से वितरण कंपनियों के निजीकरण के लिये कहा है।वितरण कंपनियों को अधिक प्रतिस्पर्धी होना चाहिए और सस्ती बिजली उपलब्ध करानी चाहिए। PLC.

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here