अतिरिक्त जिला न्यायाधीश 49 वर्षीय उत्तम आनंद को 28 जुलाई, 2021 को जॉगिंग के दौरान एक ऑटोरिक्शा ने कुचल दिया था। सीबीआई के वकील ने अदालत को सूचित किया कि उसने मामले में गिरफ्तार किए गए दो आरोपियों के व्हाट्सएप चैट विवरण मांगे थे, लेकिन व्हाट्सएप प्रमुख ने सुरक्षा और गोपनीयता नीतियों का हवाला देते हुए पहुंच से इनकार कर दिया। इसके बाद पीठ ने कंपनी को मामले में प्रतिवादी के रूप में शामिल करने का आदेश दिया ताकि उच्च न्यायालय के समक्ष मामले में उसकी उपस्थिति सुनिश्चित हो सके। मामले को एक सप्ताह के बाद सुनवाई के लिए सूचीबद्ध किया जाएगा।
सड़क पर हुई जॉगिंग के दौरान हुई जज की मौत का अभी तक कोई परिणाम नहीं निकला है। वहीं शुक्रवार को झारखंड उच्च न्यायालय ने सीबीआई को निर्देश दिया कि वह पिछले साल हुई अतिरिक्त जिला न्यायाधीश की हत्या के मामले में व्हाट्सएप कंपनी के प्रमुख के खिलाफ मुकदमा चलाए। मुख्य न्यायाधीश डॉ रवि रंजन और न्यायमूर्ति सुजीत नारायण प्रसाद की खंडपीठ ने केंद्रीय एजेंसी को मामले में व्हाट्सएप के प्रमुख को एक पक्ष बनाने के लिए कहा और फेसबुक के स्वामित्व वाली कंपनी को नोटिस जारी किया। पीठ न्यायाधीश की मृत्यु के बाद उच्च न्यायालय द्वारा स्वप्रेरणा से शुरू की गई एक जनहित याचिका पर सुनवाई कर रही थी। PLC