आई.एन.वी.सी,,
ग्रेटर नोएडा,,
एजुकेशन हब ग्रेटर नोएडा के नॉलेज पार्क स्थित जीएनआईटी कॉलेज परसिर में भ्रष्टाचार विषय पर सेमीनासर आयोजित किया गया। इस अवसर पर छात्रों के लिए वाद-विवाद प्रतियोगिता का आयोजन किया गया। जिसमें कई अन्य मैनेजमेंट कॉलेज के छात्रों ने हिस्सा लिया। छात्रों ने भ्रष्टाचार पर खुलकर अपने विचार रख़ते हुए कहा कि भ्रष्टाचार का समाज में कोई स्थान नहीं हैं। सेमीनार में जीएनआईटी के अलावा जीएल.बजाज मैनेजमेंट कॉलेज, डीआईटी कॉलेज, स्काई-लाईन इंस्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट , शारदा यूनिवेर्सिटी जैसे कई संस्थानों के छात्रो ने हिस्सा लिया। वाद-विवाद प्रतियोगिता में प्रथम, द्वितीय एवं तृतीय पुरस्कारों से छात्रों को नवाजा गया। इस अवसर पर जीएनआईटी के चेयरमन केएल.गुप्ता ने उपस्थित छात्रों से कहा कि भ्रष्टाचार वो बुराई हैं जो इंसान, समाज व देश के नैतिक मूल्यों को धीरे-धीरे खोखला कर देती हैं। आज देश का युवा वर्ग अण्णा हजारे की अगुवाई में भ्रष्टाचार के खिलाफ़ खड़ा हुआ हैं जो आने वाले समय में अच्छे सुधारों का संकेत हैं। सेमीनार में भ्रष्टाचार के सभी पहलुओं पर चर्चा करते हुए कई छात्रों ने कहा कि पश्चिमी देशों में काम के बदले रिवॉर्ड या गि ट देने का चलन हैं जबकि समाज में कई लोग इसे भी भ्रष्टाचार का एक अंग मानते हैं जबकि वर्तमान में कई देशों में रिवॉर्ड देना समाजिक व राजनैतिक व्यवस्था का एक अंग हैं, इसलिए किसी काम के बदले मिले गि ट या रिवॉर्ड को करप्शन नहीं मानना चाहिए। वहीं भ्रष्टाचार का पुरजोर विरोध करने वाले छात्रों ने कहा कि करप्शन को किसी कल्चर से जोड़ना भ्रष्टाचारियों द्वारा करप्शन को वैध ठहराने का प्रयास हैं। जिसे किसी भी लोकतांत्रिक देश या स य समाज में स्वीकार नहीं किया जा सकता। भ्रष्टाचार के कारण सिस्टम में सुधार करने के प्रयास को धक्का लगता हैं। क्योंकि कुछ लोग करप्शन को स्वभाविक मानने लगें हैं। भ्रष्टाचार के विषय पर वाद-विवाद प्रतियोगिता में आईआइएलएम के छात्र नाथ ककानी को प्रथम पुरस्कार से नवाजा गया। द्वितीय पुरस्कार जीएनआईटी कॉलेज ऑफ मैनेजमेंट की छात्रा शिल्पा चंद्रा को दिया गया तथा तृतीय पुरस्कार आईआइएमटी कॉलेज की छात्रा मोनाली को दिया गया।