आज दिल्ली रोड़ स्थित सनसिटी में सर्वखाप पंचायत की एक महत्वपूर्ण बैठक हुई। जिसकी अध्यक्षता सर्वखाप पंचायत के संयोजक महेन्द्र सिंह नान्दल ने की। इस बैठक में आरक्षण के मुद्दे के साथ-साथ जेलों में बन्द युवाओं की रिहाई व विभिन्न मुकदमों पर गहन चिन्तन किया गया। बैठक को सम्बोधित करते हुए रोहतक-84 खाप प्रधान हरदीप अहलावत ने कहा कि अब जब भी हम किसी पंचायत या समाज के बीच जाते हैं तो वहां पर युवा अब हमसे प्रश्र करने लगे हैं कि फरवरी-मार्च 2017 के धरनों से क्या परिणाम निकले हमें बताओ ? धरने रखने से पहले ये सब चिल्ला-चिल्ला कर घोषणा कर रहे थे कि धरने तभी उठेंगे जब युवा छूटकर जेलों में से बाहर आ जायेंगे। तब यही कहा जाता था कि आरक्षण मुद्दा नहीं है, जेलों से युवाओं की रिहाई व मुकदमें वापसी मुख्य मुद्दा है।
जाट समाज राहत कोष के सचिव धर्मपाल हुड्डा ने कहा कि धरनों पर समाज में जमकर जनबल का प्रदर्शन किया व दिल खोल कर धरनों को चन्दा दिया। लोगों का कहना है कि इन धरनों पर बहुत बड़ी राशि चन्दे के रूप में आयी है। लेकिन 60 दिनों तक दिखायी जनशक्ति व धन शक्ति का अभी तक कोई स्पष्ट परिणाम दिखायी नहीं दे रहा है।
जेलों में बन्द युवा, उनके परिवार अब परिणाम शून्य देखकर अपने को ठगा हुआ महसूस कर रहे हैं। अब लोग धरनों पर आये सैंकड़ों करोड़ रूपयों के उपयोग के बारे में खुलकर पूछने लगे हैं कि धरनों पर आयी धन राशि का लिखित में समाज को हिसाब दें तथा समाज को बतायें कि चन्दे की कुल कितनी राशि आई ? किस मद में कितनी खर्च हुई ? प्रमाण सहित बकाया किस बैंक में जमा है ? या किसी व्यक्ति के पास जमा है ? बकाया का कितना ब्याज बना है ? अन्यथा यह समाज के साथ खुली ठगी व लूट मानी जाएगी। खापों ने नान्दल भवन में खुले जाट समाज राहत कोष की पाई-पाई का हिसाब सी.ए. से ऑडिट करवाकर समाज के सामने बैंक बैलेन्स शीट के साथ रख दिया है।
बैठक में पानीपत व कैथल से पहुंचे एक प्रतिनिधिमंडल ने खाप प्रधानों को बताया कि हम चन्दे का हिसाब धरने वालों से मांग रहे हैं तो हमें बैठकों में भाग नहीं लेने दिया जा रहा है और चन्दे की हेरा-फेरी को अब साधारण बात कहकर नेतागण कन्नी काट रहे हैं। यह अच्छी बात नहीं है। काठ की हांडी एक बार चढ़ती है, बार-बार नहीं। लोग अब कैसे इन पर भविष्य में भरोसा करेंगे ? इसलिए हम जान गये हैं कि अपनों ने अपनों को ही ठग लिया है। उन्होंने कहा कि गलती करने वालों को माफ करना समझदारी है लेकिन दोबारा उसी गलती में फंसना तो मूर्खता कहलाता है। समाज शीशा है यह हर बात समझता है कि कौन क्या कर रहा है ? लेकिन भावनाओं में बहकर कभी-कभी व्यक्ति आगे या पीछे कुछ नहीं देखता और चालाक लोग लोगों की भावनाओं का लाभ उठाकर अपना उल्लू सीधा करने के साथ-साथ अपनी जेबें भी गर्म कर लेते हैं। इन्हीं बातों के मद्देनजर रखते हुए अभी समाज के समझदार लोगों को इन लोगों से भी हिसाब लेना चाहिये ताकि ये लोग फिर से लोगों के साथ धोखाधड़ी न कर सकें।
अगर समाज को चन्दे का हिसाब नहीं मिला तो भविष्य में जल्दी ही हरियाणा की सर्वखाप पंचायत बुलाकर इनकी पोल खोली जायेगी।
आज की बैठक में सर्वखाप पंचायत संयोजक महेन्द्र सिंह नान्दल, अहलावत खाप प्रधान जय सिंह अहलावत, दहिया खाप प्रधान सुरेन्द्र दहिया, कादियान खाप प्रधान केदार कादियान, रूहिल-राठी खाप प्रधान तस्वीर सिंह राठी, सुनारियां सतगामा प्रधान प्रकाश बुधवार, सरोहा खाप प्रधान रणधीर सिंह सरोहा, कुंडू खाप प्रतिनिधि महावीर कुंडू, कैप्टन जगवीर मलिक, धर्मपाल हुड्डा मुख्य रूप से उपस्थित थे।
आज की बैठक में सर्वखाप पंचायत संयोजक महेन्द्र सिंह नान्दल, अहलावत खाप प्रधान जय सिंह अहलावत, दहिया खाप प्रधान सुरेन्द्र दहिया, कादियान खाप प्रधान केदार कादियान, रूहिल-राठी खाप प्रधान तस्वीर सिंह राठी, सुनारियां सतगामा प्रधान प्रकाश बुधवार, सरोहा खाप प्रधान रणधीर सिंह सरोहा, कुंडू खाप प्रतिनिधि महावीर कुंडू, कैप्टन जगवीर मलिक, धर्मपाल हुड्डा मुख्य रूप से उपस्थित थे।