वुमन लीडर इन राजस्थान लेजिस्लेचर सिंस 1952 का विमोचन

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आई एन वी सी न्यूज़
जयपुर,

विधानसभा अध्यक्ष श्री कैलाश मेघवाल ने कहा है कि चुनौतिपूर्ण कार्यों में सफलता के लिए महिलाओं के प्रति पुरानी सोच एवं संस्कारों में बदलाव लाना होगा तभी महिला सशक्तिकरण को बल मिलेगा ।
श्री मेघवाल गुरूवार को यहां इंद्रलोक सभागार में युवा लेखिका एवं पत्रकार अनुभा की कॉफी टेबल पुस्तक ‘वुमन लीडर इन राजस्थान लेजिस्लेचर सिंस 1952‘ के लोकार्पण समारोह की अध्यक्षता कर रहे थे। उन्होंने कहा कि अच्छे कार्यों के लिए संघर्ष करना पड़ता है। पुरूष प्रधान सोच में बदलाव से ही समाज में सुधार लाया जा सकता है।

विधानसभा अध्यक्ष ने कहा कि हर कार्य में हमेशा सुधार की गुंजाइश रहती है। वह चाहे लेखन क्षेत्र हो या राजनीति का। उन्होंने कहा कि किसी भी पुस्तक का सृजन एक दुर्लभ कार्य है जिसे इस पुस्तक की लेखिका अनुभा ने बड़े सहज तरीके से पूरा किया है इसके लिए वे बधाई की पात्र हैं।

कार्यक्रम के मुख्य अतिथि गृह मंत्री श्री गुलाब चन्द कटारिया ने महिलाओं के विकास के लिए शिक्षा पर जोर देते हुए कहा कि शिक्षा से ही महिलाओं में जागृति संभव है। उन्होंने कहा कि बालिका शिक्षा जो पहले 20 प्रतिशत थी अब 44 प्रतिशत तक बढ़ी है।

श्री कटारिया ने कहा कि राजस्थान पहला राज्य है जिसने पंचायत राज संस्थानों में शिक्षा को अनिवार्य किया है। उन्होंने कहा कि नकारात्मक पक्ष को मजबूत करने के बजाय हर व्यक्ति शिक्षा से ही आगे बढे। उन्होंने कहा कि प्रदेश को शिक्षा के क्षेत्र में अग्रणी राज्यों में लाने के लिए सरकार निरंतर प्रयासरत है।

समारोह में विधानसभा अध्यक्ष, गृह मंत्री एवं पूर्व विधानसभा अध्यक्ष तथा विशिष्ट अतिथियों ने ‘वुमन लीडर इन राजस्थान लेजिस्लेचर सिंस 1952‘ पुस्तक का विमोचन किया।

कार्यक्रम की विशिष्ट अतिथि पूर्व विधानसभा अध्यक्ष श्रीमती सुमित्रा सिंह ने लेखिका को उत्कृष्ट पुस्तक लेखन के लिए बधाई देते हुए कहा कि महिलाओं को हर क्षेत्र में दोहरी भूमिका निभानी पड़ती है।

कार्यक्रम के विशिष्ट अतिथि चेम्बर आफ कामर्स के मानद सचिव श्री के.एल. जैन ने अनुभा की इस पुस्तक को महिला सशक्तिकरण की दिशा में एक मील का पत्थर बताया। उन्होंने बधाई देते हुए कहा कि लेखिका को समाज के अन्य विषयों पर भी अपनी कलम चलानी चाहिए।

पुस्तक की लेखिका अनुभा ने अतिथियों का स्वागत करते हुए अपने अनुभव साझा किये। उन्होंने बताया कि इस पुस्तक में पहली विधानसभा से 14वीं विधानसभा में भागीदार रही राजस्थान की महिला मंत्रियों एवं विधायकों का जीवन संघर्ष व अन्य कई सम-सामयिक विषयों पर उनके द्वारा लिये गए साक्षात्कार प्रस्तुत किये गये हैं। उन्होंने महिलाओं पर हो रहे अत्याचारों पर अपने विचार व्यक्त करते हुए बताया कि कन्या भ्रूण हत्या की बढ़ती संख्या व सुरक्षा की दृष्टि से महिलाओं को अभी भी एक लम्बी दूरी तय करनी है ।

इस अवसर पर पूर्व विधानसभा अध्यक्ष श्रीमती सुमित्रा सिंह, विधायक श्रीमती सूर्यकान्ता व्यास, श्रीमती राजकुमारी, पूर्व मंत्री श्रीमती ऊषा पूनिया, पूर्व विधायक श्रीमती प्रमिला कुण्डारा, श्रीमती रोहिणी कुमारी सहित अनेक महिला जनप्रतिनिधियों को माल्यार्पण एवं शॉल ओढा कर सम्मानित भी किया गया। सभी सम्मानित महिला विधायकों एवं अतिथियों को पुस्तक की प्रति भेंट की गई।

इस अवसर पर वरिष्ठ पत्रकार श्री धीरेन्द्र जैन, श्रीमती पवन सुराणा, श्री एन. एम. रांका एवं श्री ज्ञान प्रकाश ने विमोचित पुस्तक पर अपने विचार व्यक्त किये। अंत में श्री प्रकाश बक्शी ने आभार व्यक्त किया। कार्यक्रम का संचालन श्री राजेन्द्र शर्मा ‘राजू‘ ने किया ।

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