राँची,,
मुख्यमंत्री श्री अर्जुन मुण्डा ने कहा कि आने वाले समय की आर्थिक चुनौतियों से मुकाबले को सर्वाधिक महत्व दिया जाना चाहिए। इसके लिए हरेक हाथ को हुनर और रोजगार दिया जाना जरूरी है। श्रमिकों के प्रि’ाक्षण तथा प्रि’ाक्षित श्रमिकों को उनके उपयुक्त रोजगार के अवसर दिए जाने हेतु व्यापक रणनीति तैयार कर रोड मैप पर कार्य करने की जरूरत है। उन्होंने संबंधित सभी विभागों के वरीय पदाधिकारियों से कहा कि जमीनी स्तर पर रोजगार सृजन के कार्यक्रमों के समेकित रूप से कार्यान्वयन एवं पंचायती राज संस्थाओं सहित स्थानीय समुदायों की भागीदारी को ध्यान में रखते हुए देशज हुनर और परंपरागत श्रम संसाधन के विकास हेतु समग्र नीति बनाकर योजनाएँ कार्यािन्वत करें। इस हेतु संबंधित क्षेत्रों के विशेशज्ञों एवं अनुभवी संस्थाओं की हर संभव सहायता ली जाए। मुख्यमंत्री आज अपने आवास पर राश्ट्रीय कौशल विकास निगम के अध्यक्ष श्री एम0वि0 सिुबआह की उपस्थिति में वरीय पदाधिकारियों के साथ बैठक कर रहे थे।
एन0सी0डी0सी0 के चेयरमैन एवं मुरूगप्पा ग्रुप के पूर्व चेयरमैन श्री एम0वि0 सुबिआह ने कौशल विकास के लिए विभिन्न स्तरों पर किये जा रहे प्रयासों को प्रोत्साहित किए जाने की आवश्यकता पर बल दिया। उन्होंने कहा कि इसके लिए विभिन्न स्तरों पर साझेदारी के साथ-साथ स्थानीय समुदाय के कौशल का पूरा-पूरा सार्थक उपयोग होना चाहिए। इससे विकास में सहभागिता की जमीन तैयार होगी। उन्होंने झारखण्ड को संभावनाओं का प्रदेश बताते हुए कहा कि यहाँ के युवाओं के कौशल, उनकी टीम िस्परिट और खेलों की संस्कृति का उपयोग रचनात्मक तरीके से आर्थिक गतिविधियों में होना चाहिए। उन्होंने कहा कि स्थानीय स्तर पर रोजगार सृजन के उद्देश्यों की प्राप्ति के लिए स्थानीय समुदायों एवं उद्योग जगत को शामिल करते हुए कम लागत और उत्तम गुणवत्ता वाले व्यावसायिक मॉडल का विकास करना जरूरी है।
उक्त बैठक में मुख्मंत्री के प्रधान सचिव, डॉ0 डी0के0तिवारी, प्रधान सचिव, ग्रामीण विकास, श्री आर0एस0 पोद्दार, प्रधान सचिव, श्रम एवं नियोजन, श्री विश्णु कुमार, निदेशक, माध्यमिक िशक्षा श्रीमती ममता, एन0सी0डी0सी0 के हेड, एम0आई0एस0 एवं मॉनीटरिंग श्री जयकांत सिंह सहित कई वरीय पदाधिकारी उपस्थित थे।