हेमंत पटेल ,
आई एन वी सी ,
भोपाल,
भोपाल,
मध्य प्रदेश के उच्च शिक्षा संस्थानों में नामचीन नूतन कॉलेज के नाम से मशहूर सरोजनी नायडू शासकीय कन्या स्नातकोत्तर महाविद्यालय की प्राचार्य डॉ. शोभना बाजपेयी मारू द्वारा सन् 2009 के अंत मेें की गई एक ग्यारह दिवसीय यात्रा विवादों में आ गई है। प्रमाणिक दस्तावेजों के मुताबिक,पेरिस (फ्रांस) में शीर्ष कार्डियोलाजिस्टों के इस इंटरनेशनल कांफ्रेस में भाग लेने के लिए भोपाल के सुपर स्पेशलिस्ट डॉक्टरों के ग्रुप में अर्थशास्त्र विषय की डॉ. मारू ने न केवल शासन की बगैर अनुमति भाग लिया,बल्कि शोध पत्र पढऩे की असत्य जानकारी देते हुए विश्वविद्यालय अनुदान आयोग(यूजीसी) से भारी रकम टे्रवल ग्रांट के नाम पर हथिया ली। यह आरोप लगाया है पर्यावरण हितों के लिए काम करने वाली संस्था जी.सीड ने ।
संस्था के अध्यक्ष डॉ. सुभाष सी. पाण्डेय ने रविन्द्र भवन के अप्सरा रेस्टोरेंट में आयोजित एक पत्रकार वार्ता में बताया कि उन्हें यह सारी सूचना आरटीआई के तहत प्राप्त हुई है। जिसके अनुसार,नूतन कॉलेज की प्राचार्या डॉ. शोभना बाजपेयी मारू इस पेरिस की यात्रा में गेस्ट डेलीगेट के बतौर शामिल हुई थी। ग्यारह दिनों की इस विदेश यात्रा के लिए कॉलेज प्राचार्या ने न तो कोई अवकाश लिया और न ही मु यालय छोडऩे की अनुमति ली। लस्वरूप ग्यारह दिनों तक कॉलेज बिना किसी प्राचार्य के ही चलता रहा। यही नहीं, उनके खिलाफ कोई कार्रवाई करने की बजाए प्रदेश के उच्च शिक्षा विभाग ने भी यात्रा के 14 महीनों बाद प्राचार्या को कार्योत्तर अनुमति देकर उपकृत किया।
यूजीसी की भी संदिग्ध भूमिका
इस गंभीर मसले पर यूजीसी की भूमिका भी संदेह के दायरे में है। डॉ. पाण्डेय ने बताया कि यूजीसी अधिकारियों ने अपने ही नियमों की अनदेखी करते हुए डॉ. मारू को 1,16,000 की ट्रेवल ग्रांट दे डाली। इस पूरे घटनाक्रम में डॉ. मारू के अधीनस्थ एक प्रोफेसर,उनके कार्डियालाजिस्ट पति और भोपाल के दो अन्य नामचीन कार्डियालाजिस्ट भी शामिल हैं।
इनका कहना
आरोप सही हैं या गलत,मुझे कुछ नहीं कहना है। शासन स्तर से जब मुझसे जवाब-तलब किया जाएगा तो मैं उचित जवाब दे दूंगी।
डॉ. शोभना बाजपेयी मारू
प्राचार्य, नूतन कॉलेज
संस्था के अध्यक्ष डॉ. सुभाष सी. पाण्डेय ने रविन्द्र भवन के अप्सरा रेस्टोरेंट में आयोजित एक पत्रकार वार्ता में बताया कि उन्हें यह सारी सूचना आरटीआई के तहत प्राप्त हुई है। जिसके अनुसार,नूतन कॉलेज की प्राचार्या डॉ. शोभना बाजपेयी मारू इस पेरिस की यात्रा में गेस्ट डेलीगेट के बतौर शामिल हुई थी। ग्यारह दिनों की इस विदेश यात्रा के लिए कॉलेज प्राचार्या ने न तो कोई अवकाश लिया और न ही मु यालय छोडऩे की अनुमति ली। लस्वरूप ग्यारह दिनों तक कॉलेज बिना किसी प्राचार्य के ही चलता रहा। यही नहीं, उनके खिलाफ कोई कार्रवाई करने की बजाए प्रदेश के उच्च शिक्षा विभाग ने भी यात्रा के 14 महीनों बाद प्राचार्या को कार्योत्तर अनुमति देकर उपकृत किया।
यूजीसी की भी संदिग्ध भूमिका
इस गंभीर मसले पर यूजीसी की भूमिका भी संदेह के दायरे में है। डॉ. पाण्डेय ने बताया कि यूजीसी अधिकारियों ने अपने ही नियमों की अनदेखी करते हुए डॉ. मारू को 1,16,000 की ट्रेवल ग्रांट दे डाली। इस पूरे घटनाक्रम में डॉ. मारू के अधीनस्थ एक प्रोफेसर,उनके कार्डियालाजिस्ट पति और भोपाल के दो अन्य नामचीन कार्डियालाजिस्ट भी शामिल हैं।
इनका कहना
आरोप सही हैं या गलत,मुझे कुछ नहीं कहना है। शासन स्तर से जब मुझसे जवाब-तलब किया जाएगा तो मैं उचित जवाब दे दूंगी।
डॉ. शोभना बाजपेयी मारू
प्राचार्य, नूतन कॉलेज